Dm सोनी संवाददाता निष्पक्ष मीडिया जंक्शन बचेली - ख़बर वही जो हो सही
बचेली राम मंदिर के पुजारी को शिकागो में किया गया सम्मानित।
दिनांक: 8 मई स्थान: शिकागो,( अमेरिका ) उत्तर अमेरिका छत्तीसगढ़ एसोसिएशन (एन.ए.सी.एच.ए) ने पद्मश्री डॉ सुरेन्द्र दुबे के लिए इस कार्यक्रम की मेजबानी की है उनके उत्कृष्ट योगदान लिए सम्मान किया गया एवं उन्हें पुरुस्कृत किया गया । उन्होंने साहित्य के क्षेत्र में, और छत्तीसगढ़ी भाषा का अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान कायम की है ।
एसोसिएशन के कार्यकारी अध्यक्ष गणेश कर जो बचेली से हैं, उन्होंने अपनी टीम के साथ इस आयोजन की मेजबानी की । पद्मश्री डॉ सुरेन्द्र दुबे ने श्री सुभाष चंद्र कर, जो की राम मंदिर बचेली के पुजारी है उनकी सराहना की और उन्हें शॉल एवं श्रीफल देकर सम्मानित किया गया आपको बता दे की राम मंदिर के पुजारी के रूप में पंडित शुभाष चंद्र कर 1970 से पुजारी के रूप में हिंदू धार्मिक कार्य पूजा पाठ में उनका योगदान रहा है, और एनआरआई संगठन के निर्माण में उनके परिवार का अहम योगदान और उत्तर अमेरिका में छत्तीसगढ़ और आईटी संस्कृति के प्रसार में पूर्ण योगदान रहा है।
सुरेंद्र दुबे ने इस बात का भी उल्लेख किया कि लोगों को श्री सुभाष चन्द्र कर से सीखना चाहिए कि कैसे सादगी भरे जीवन और भगवान की भक्ति के साथ साथ समाज मे भी योगदान देना चाहिए। बचेली , छत्तीसगढ़ के लिए यह गौरव का क्षण है की एक बचेली के परिवार और बचेली मंदिर के पंडित जी ने विदेशी धरती पर बचेली को पहचान दिलवाई है।
एसोसिएशन के कार्यकारी अध्यक्ष गणेश कर जो बचेली से हैं, उन्होंने अपनी टीम के साथ इस आयोजन की मेजबानी की । पद्मश्री डॉ सुरेन्द्र दुबे ने श्री सुभाष चंद्र कर, जो की राम मंदिर बचेली के पुजारी है उनकी सराहना की और उन्हें शॉल एवं श्रीफल देकर सम्मानित किया गया आपको बता दे की राम मंदिर के पुजारी के रूप में पंडित शुभाष चंद्र कर 1970 से पुजारी के रूप में हिंदू धार्मिक कार्य पूजा पाठ में उनका योगदान रहा है, और एनआरआई संगठन के निर्माण में उनके परिवार का अहम योगदान और उत्तर अमेरिका में छत्तीसगढ़ और आईटी संस्कृति के प्रसार में पूर्ण योगदान रहा है।
सुरेंद्र दुबे ने इस बात का भी उल्लेख किया कि लोगों को श्री सुभाष चन्द्र कर से सीखना चाहिए कि कैसे सादगी भरे जीवन और भगवान की भक्ति के साथ साथ समाज मे भी योगदान देना चाहिए। बचेली , छत्तीसगढ़ के लिए यह गौरव का क्षण है की एक बचेली के परिवार और बचेली मंदिर के पंडित जी ने विदेशी धरती पर बचेली को पहचान दिलवाई है।
0 Comments