Dm सोनी संवाददाता निष्पक्ष मीडिया जंक्शन बचेली - ख़बर वही जो हो सही
संगिनी महिला समिति ने किया पुतरा- पुतरी विवाह का भव्य आयोजन
बचेली कुछ हफ्ते पूर्व ही बनी बचेली एनएमडीसी कर्मचारियों की महिलाओ द्वारा निर्मित संगिनी महिला समिति के द्वारा अक्षय तृतीया के उपलक्ष्य में पुतरा- पुतरी विवाह का भव्य आयोजन किया गया। आपको बता दे की अक्षय तृतीया के सर्वसिद्ध मुहूर्त के रूप में विशेष महत्व है। इस दिन बिना पंचांग देखे कोई भी शुभ मांगलिक कार्य जैसे विवाह,गृहप्रवेश, वस्त्र आभूषण की खरीदी,घर, भूखंड, वाहन आदि की खरीददारी से संबंधित कार्य किये जा सकते है।
वही इस दिन कुछ राज्यो में गुड्डे गुड़ियों का विवाह भी प्रचलित है। छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक पृष्ठभूमि में रचे बसे पुतरा- पुतरी के विवाह का विशेष महत्व है। वही पुतरा- पुतरी के विवाह का रिवाज मात्र छत्तीसगढ़ में ही है। संगिनी महिला समिति द्वारा किये गए इस आयोजन में अध्यक्षा श्रीमती शीला साहू,सचिव श्रीमती कविता सक्सेना , कोषाध्यक्ष श्रीमती मंजू राव सहसचिव श्रीमती गीतांजलि सरकार एवं समिति की सभी महिलाओ ने अपनी सहभागिता दी है। विवाह की पूरी रस्मे निभाई गयी। जिसमे मुख्यतः सबसे पहले चुलमाटी,गौरी गणेश पूजन ,हरिद्रालेपन,बारात आगमन , फेरे , आशीर्वाद समारोह, एवं अंत मे प्रीति भोज का आयोजन भी किया गया।
इस तरह के विवाह की पद्धति कही ना कही लुप्त होती जा रही है। जिसे बचेली संगिनी महिला समिति की महिलाओ ने पुनर्जीवित करने का सफल प्रयास किया है। संगिनी महिला समिति की अध्यक्षा श्रीमती शीला साहू ने बताया की इस समिति को बनाने का एक ही उद्देश्य है महिलाये एक होकर सभी संस्कृतिक आयोजन को बेहतर तरीके से मना पाये एवं अपने बच्चों को अपनी संस्कृति से रूबरू करा सके। इस आयोजन में समिति के पदाधिकारियों समेत समिति की सभी महिलाओ ने अपनी उपस्थिति दर्ज की।
संगिनी महिला समिति ने किया पुतरा- पुतरी विवाह का भव्य आयोजन
वही इस दिन कुछ राज्यो में गुड्डे गुड़ियों का विवाह भी प्रचलित है। छत्तीसगढ़ की सांस्कृतिक पृष्ठभूमि में रचे बसे पुतरा- पुतरी के विवाह का विशेष महत्व है। वही पुतरा- पुतरी के विवाह का रिवाज मात्र छत्तीसगढ़ में ही है। संगिनी महिला समिति द्वारा किये गए इस आयोजन में अध्यक्षा श्रीमती शीला साहू,सचिव श्रीमती कविता सक्सेना , कोषाध्यक्ष श्रीमती मंजू राव सहसचिव श्रीमती गीतांजलि सरकार एवं समिति की सभी महिलाओ ने अपनी सहभागिता दी है। विवाह की पूरी रस्मे निभाई गयी। जिसमे मुख्यतः सबसे पहले चुलमाटी,गौरी गणेश पूजन ,हरिद्रालेपन,बारात आगमन , फेरे , आशीर्वाद समारोह, एवं अंत मे प्रीति भोज का आयोजन भी किया गया।
इस तरह के विवाह की पद्धति कही ना कही लुप्त होती जा रही है। जिसे बचेली संगिनी महिला समिति की महिलाओ ने पुनर्जीवित करने का सफल प्रयास किया है। संगिनी महिला समिति की अध्यक्षा श्रीमती शीला साहू ने बताया की इस समिति को बनाने का एक ही उद्देश्य है महिलाये एक होकर सभी संस्कृतिक आयोजन को बेहतर तरीके से मना पाये एवं अपने बच्चों को अपनी संस्कृति से रूबरू करा सके। इस आयोजन में समिति के पदाधिकारियों समेत समिति की सभी महिलाओ ने अपनी उपस्थिति दर्ज की।
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